Ayurvedic Diet Tips in Hindi
Ayurvedic Diet – आयुर्वेद के अनुसार रात के खाने में नहीं खाने चाहिए ये 5 फूड्स
Ayurvedic Diet: रात के खाने या डिनर में कुछ फूड्स का सेवन करने से सेहत को नुकसान पहुंच सकता है, जानें डिनर में क्या नहीं खाना चाहिए।
आज के समय में जीवनशैली और स्वस्थ खान-पान की आदतें अच्छे स्वास्थ्य की कुंजी हैं। जब हम स्वस्थ भोजन की बात करते हैं, तो यह सिर्फ इस बारे में नहीं है कि आप क्या खाते हैं, बल्कि आप कब खाते हैं यह भी बहुत महत्वपूर्ण है। आपके शरीर को ठीक से काम करने, स्वस्थ और फिट रहने के लिए सही समय पर सही भोजन करना महत्वपूर्ण है। आयुर्वेद के अनुसार रात के खाने (डिनर) में नहीं खाने चाहिए ये 5 फूड्स (Ayurvedic Diet).
आज इस लेख (Ayurvedic Diet) के माध्यम से हम आपको इसके पीछे कारण के बारे में विस्तार से बताएंगे की क्यों आपको रात में इन खाने वाले पदार्थों से बचना चाहिए?
आयुर्वेद के अनुसार रात में न खाएं ये 5 चीजें – (Ayurvedic Diet in Hindi)
1. पानी से भरपूर खाद्य पदार्थ
शरीर को हाइड्रेट रखना बेहद जरुरी है। और इसके लिए पानी से भरपूर चीजें खाना बेहद जरूरी है। लेकिन रात को इन तरल खाद्य पदार्थों के सेवन से बचना चाहिए। इसकी वजह यही है कि रात को हमारे शरीर में कफ बढ़ा हुआ होता है जो आपको पेट फूलने की समस्या के अलावा अन्य समस्या हो सकती हैं। आपको रात में फल, कच्ची सब्जियां, अंकुरित दाल और सूप आदि का सेवन नहीं करना चाहिए।
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2. दही
वैसे तो दही का सेवन सेहत के लिए बहुत फायदेमंद माना जाता है। यह पाचन क्रिया को मजबूत करने के साथ-साथ रोग इम्यून क्षमता को भी मजबूत करता है। आयुर्वेद के मुताबिक, दही में खट्टे और मीठे दोनों गुण होते हैं और यह शरीर में पित्त और कफ दोष को बढ़ाता है। इसलिए, दोपहर के समय दही का सेवन करने की सलाह दी जाती है, क्योंकि दही पचाने में भारी होता है और दोपहर के दौरान आपकी पाचन अग्नि अपने चरम पर होती है।
अगर आप रात में दही खाते है तो नासिका मार्ग में ज्यादा बलगम विकसित हो सकता है। और अगर आप अस्थमा या खांसी-जुकाम से पीड़ित हैं तो रात में धी से बचें क्योंकि यह बलगम पैदा करता है। आप दही खाने की बजाय छाछ का सेवन कर सकते हैं, क्योंकि यह पचने में हल्की होता है जो आपके सेहत को बनाए रखने में मदद करती है।
3. मीठे फूड्स
हम सभी को पूरे दिन में खाने के बाद कुछ न कुछ मीठा खाने की इच्छा होती है। दिन के दौरान भोजन के कुछ देर बाद मीठा खाने से सेहत को नुकसान नहीं पहुंचता है। लेकिन रात में मीठे पदार्थ खाने से पाचन खराब हो सकता है। क्योंकि मीठा खाने के बाद पेट भारी और पचाने में भी भारी होता है। साथ ही मीठा खाने से खांसी और बलगम और भी ज्यादा बढ़ता है। इसलिए रात के समय मीठा खाने से बचें चाहे केक, चॉकलेट, खीर,मिठाई आदि का सेवन भी न करें।
4. मैदा से बनी चीजें
वैसे तो मैदा का सेवन सेहत के लिए हानिकारक माना जाता है, लेकिन फिर भी हम रोजमर्रा की जिंदगी में इसका सेवन करते हैं। इसे पचाने के लिए पाचन तंत्र को काफी मेहनत करनी पड़ती है। साथ ही इसमें पोषक तत्व भी बहुत कम होते हैं। यह आपके पाचन को खराब करता है और आपका वजन बढ़ सकता है। जब दिन के समय में मैदे से बनी चीजों को पचाना बहुत मुश्किल होता है। वहीं, रात के समय में पाचन तंत्र पहले से ही धीमी गति से काम कर रहा होता है और डिनर के दौरान मैदे का सेवन करने से आपको पेट संबंधी समस्याएं पैदा हो सकती है।
5. तला-भुना खाना
अगर आप रात में छोले-भटूरे या पूरी सब्जी खाना पसंद करते हैं तो आपकी सेहत खराब हो सकती है। क्योंकि, तैलीय और तले हुए खाद्य पदार्थ काफी भारी होते हैं और पचने में काफी समय लेते हैं। इन्हें खाने से अमा की समस्या हो जाती है। आयुर्वेद के अनुसार अमा हर बीमारी की जड़ है। जिसमें शरीर के अंदर विषाक्त पदार्थ जमा होने लगते हैं।
इसके अलावा छोले-राजमा, लाल मांस, अंडा, चिकन, प्रोसेस्ड स्वीट और नमकीन स्नैक, शराब, चाय, गेहूं से बनी चीजें, हाई और प्रोटीन डाइट को रात में खाने से बचें (Foods To Avoid In Dinner)। इनके सेवन से आपको आगे चलकर कई गैस, पेट में भारीपन, कब्ज की समस्या, डाइरिया, पेट में जलन, एसिडिटी की समस्या होना, पाचन तंत्र की हानि होना और आईबीएस जैसी अन्य समस्या उत्पन्न हो सकती हैं।
Ayurvedic Diet के अनुसार रात में हल्का भोजन क्यों करे ?
हमारे शरीर को त्रिदोष संतुलित करते है जिसमें वात, पित्त और कफ शामिल है। वात (वायु), पित्त (गर्म) और कफ (ठंडा) प्रकृति हैं। दोष को ध्यान में रखते हुए आहार संबंधी प्रतिबंध लगाने की आवश्यकता है। इस हिसाब से पूरे दिन में अगर हम एक दिन को तीन बराबर भागों में विभाजित करते हैं, तो कफ स्वाभाविक रूप से अंतिम भाग पर शासन करता है। इसलिए, इस दौरान हम जो भोजन खाते हैं वह कफ को संतुलित करने वाला होना चाहिए न कि कफ दोष को बढ़ाने वाला।
आयुर्वेद और आधुनिक विज्ञान दोनों ही रात में हल्का खाना खाने की सलाह देते हैं। आयुर्वेद के अनुसार रात में खाना नहीं खाना चाहिए खाना खाने से बचना चाहिए – ऐसे खाद्य पदार्थ जो चिकने, अनहेल्दी, मीठे, पचाने में मुश्किल, मांसाहारी, ठंडे या जमे हुए, आइसक्रीम, बड़ी मात्रा में, दही और अन्य चीजें हैं, उन्हें रात में खाने से बचना चाहिए या कम मात्रा में खाना चाहिए। क्योंकि देर रात खाना खाने से आपके शरीर और दिमाग पर तुरंत असर पड़ सकता है। न केवल आप क्या खाते हैं, बल्कि आप इसे कब खाते हैं, यह भी आपके शरीर के ठीक से काम करने के लिए महत्वपूर्ण है।”
Ayurvedic Diet के अनुसार रात के खाने के लिए सही भोजन
रात के खाने में हमें कुछ ऐसी चीजे शामिल करना चाहिए जो आसानी से पच सके जैसे:
- रात को दही की जगह छाछ का सेवन करें।
- चावल की तुलना में चपातियाँ बेहतर होती हैं।
- भोजन की मात्रा सीमित होनी चाहिए।
- रात के समय करी पत्ता, दाल, हल्दी और थोड़ी मात्रा में अदरक खाना अच्छा रहता है।
“सामान्य नियम यह है कि आप जो खाना खाते हैं वह आपके पेट को हल्का महसूस करना चाहिए। भारीपन की भावना नहीं होनी चाहिए। सोते समय हमें आम तौर पर कम ऊर्जा की आवश्यकता होती है। नतीजतन, अगर हम रात में बहुत अधिक खाते हैं, तो अधिकांश ऊर्जा भोजन से उत्पन्न भोजन शरीर में जमा हो जाता है, जिससे वसा का जमाव होता है और वजन बढ़ता है।
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Anjali Bharti